अटेर का किला सैकड़ों किवदंती, कई सौ किस्सों और न जाने कितने ही रहस्य को छुपाए हुए चुपचाप सा खड़ा दिखाई देता है। जैसे मानो अभी उसके गर्त में और भी रहस्य हों। महाभारत में जिस देवगिरि पहाड़ी का उल्लेख आता है यह किला उसी पहाड़ी पर स्तिथ है। इसका मूल नाम देवगिरि दुर्ग है। हिन्दू और मुगल स्थापत्य कला का बेजोड़ नमूना है !गहरी चंबल नदी की घाटी में स्थित यह क़िला भिंड ज़िले से 35 कि.मी. पश्चिम में स्थित है। यह दुर्ग भदावर राजाओं के गौरवशाली इतिहास की कहानी बयां करता है। बताते हैं कि शौर्य के प्रतीक लाल दरवाजे से ऐतिहासिक काल में खून टपकता था, इस खून से तिलक करने के बाद ही गुप्तचर राजा से मिलने जाते थे
- Күн бұрын
जानिए अटेर किले के खूनी दरवाजे का रहस्य क्या है... Mystery of Blooded Gate of Atier Kila..!
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