जंगल और पहाड़ के ऊपर एकमात्र घर
छत्तीसगढ़ के अंदरूनी इलाकों में विशेष कर पहाड़ी कोरबा और बैग समुदाय जंगल पहाड़ों में निवास करना पसंद करते हैं ऐसा लगता है कि कई वर्षों का भजन राशन साथ में लेकर वह पहाड़ों के ऊपर बस कर रहते हैं शहर की चौखट चौहान से बहुत दूर यहां तक की बोली भाषा भी अलग वेशभूषा रहन-सहन खान पान भी अलग किसी प्रकार का जीवन में कोई बदलाव भी नहीं चाहते प्रकृति की गोद में रहना पसंद करते हैं और पेड़ पौधों से प्राप्त फल फूल से अपना रोजगार और जीवन यापन करते हैं जिसमें सबसे बड़ी भूमिका महुआ आम तेंदू कर और तेंदू पत्ता तोड़ने के कार्य में रोजगार का साधन हो पता है इसी कड़ी में आज हम बिलासपुर जिला से लगभग 80 किलोमीटर दूर बेलगहना से कुर्दा पहाड़ी चढ़कर एक गांव उमरिया पहुंचते हैं इस दौरान कुछ लोगों से सामान्य बातचीत करते हैं
Негізгі бет जंगल पहाड़ के ऊपर आदिवासी समुदाय का गांव घर | Tribal Life | chhattisgarh wildlife
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