भगवान श्री कृष्ण बाबा नंद देव के घर में रात्रि 12:00 बजे ही क्यों जन्मे? बाबा नंद के घर में रात को 12:00 बजे ही बधाई क्यों बजने लगी? .....इसका उल्लेख श्री रामचरितमानस मिलता हैl ..नवमी तिथि मधु मास पुनीताl ..शुक्ल पक्ष अभिजीत हरि प्रीता ll मध्य दिवस अति सित न घामा पावन काल लोक विश्रामा ll..........दोपहर का समय था ना बहुत सर्दी थी और न बहुत गर्मी थी उस समय महीने भर दिन ही दिन था l सूर्य भगवान प्रभु श्री राम के दर्शन करने के लिए एक महीने तक अपना रथ रोक दिए थेl 1 महीने में रात्रि बेचैन हो चुकी थी l चंद्रमा भी बहुत परेशान हो चुके थेl रात्रि श्री रामचंद्र जी के भवन पहुंचकर रोने लगीl हे रात्रि तुम क्यों रो रही हो क्या बात है? तब रात्रि कहने लगी सूर्य भगवान 1 महीने से अपना रथ रो कर आपका दर्शन कर रहे हैं l सौभाग्य मुझ को कब मिलेगा? तब श्री रामचंद्र ने कहा द्वापर युग में भादो महीने में शुक्ल पक्ष को रात्रि के 12:00 बजे मेरा जन्म होगा? और सभी मथुरा वासी वृंदावन वासी और सभी आर्यावर्त के लोग मेरे जन्म का इंतजार करेंगे l ..इसलिए श्री कृष्ण का जन्म रात्रि को 12:00 बजे हुआ! ...तब चंद्रमा का आगमन हुआ चंद्रमा बोलने लगे भगवान मेरा क्या होगा मैं भी एक महीने से निकला नहीं हूं l तब प्रभु श्री रामचंद्र जी बोले इस त्रेता युग में सूर्य कुल में जन्म लिया हूं लेकिन द्वापर युग में चंद्र कुल में जन्म लूंगा l तब चन्द्रमा ने कहा की लोग एक महीने में मेरे को तो भूल चुके हैं तो प्रभु श्री राम ने कहा की नहीं लोग मेरे नाम के बाद तुम्हारा नाम भी लेंगे l इस प्रकार लोग आज भी कहते हैं प्रभु श्री राम चंद्र की जय l
- Күн бұрын
आखिर आधी रात क्यों जन्मे श्री कृष्णा?
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