क्योंकि हमने आज तक अपना हक सही तरीके से मांगा नहीं है इसलिए हमारा अपना दूसरे मांग रहे है और हम अभी भी चुपचाप बैठे है आज अगर रोड पर नहीं आये तो कभी भी नहीं आ सकते है हम हे पार्टियां टिकट देना चाहती हैं पर संगठित होने पर अन्यथा नहीं हर विधानसभा में 15-20 हजार वोट है और वो हमारी शक्ति प्रदर्शन देखना चाहती है और आज हम नहीं दिखा पा रहे है तो हम अपने कदमों मे कुल्हाड़ी मारने का काम कर रहे हैं। *रोने से या कोसने से कोई पार्टी टिकट नहीं देने वाली है अपना हक लड़कर लेना पड़ता है *** यह सोची समझी साजिश है क्योंकि हमहे एक ही टिकट से रोकने के लिए क्योंकि ज्यादा टिकट ना मागले इसलिए बाकी हमारा समाज समझदार हैं ही आगे कि रणनीति जल्दी से बनाये जिससे आगे कि रन-नायक हो और सफल परिणाम मिले ***
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